Wednesday 15 August 2012

ज़माने भर में मिलते हैं आशिक कई,
मगर वतन से खूबसूरत सनम कोई
नहीं होता,
सोने में लिपट कर मरे शासक कई,
मगर तिरंगे से खूबसूरत कोई कफ़न

Na sar jhuka hai kabhi, na jhukayenge Kabhi,jo apne dum pe jiyen sach me zindagi hai wahi.




Saturday 24 March 2012

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ज़िन्दगी जीने के लिए, अरमान जरूरी है...
हर ख़ुशी पाने के लिए, इम्तिहान जरूरी है...
दिल में चाहे हजारों गम हो...
पर चहरे पर एक मुस्कान जरूरी है...

चाकू.. खंजर.. तीर और, तलवार....

  " चाकू .. खंजर . .                            तीर और,                                               तलवार ..                        ...